0 0
Read Time:4 Minute, 24 Second

-एन.एच.आर.सी. ने मुजफ्फरपुर के जिलाधिकारी व एसएसपी से किया रिपोर्ट तलब-

-मानवाधिकार अधिवक्ता एस. के. झा की याचिका पर एन.एच.आर.सी. में चल रही है सुनवाई-

मुजफ्फरपुर- जिले के चर्चित किडनी कांड मामले में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने बिहार के मुख्य सचिव व डीजीपी को आवश्यक कार्रवाई करने को कहा है। साथ ही मुजफ्फरपुर के जिलाधिकारी व एसएसपी से रिपोर्ट तलब करते हुए चार सप्ताह में जवाब माँगा है।

विदित हो कि पीड़ित महिला सुनीता देवी के ओवरी के ऑपरेशन के दौरान दोनों किडनी निकालने का मामला प्रकाश में आने के बाद मानवाधिकार अधिवक्ता एस. के. झा ने राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग एवं राज्य मानवाधिकार आयोग में याचिका दाखिल की थी और मामले में संलिप्त आरोपितों की अविलम्ब गिरफ़्तारी की माँग की थी, जिसपर सुनवाई करते हुए आयोग ने यह कार्रवाई की है।

ये है मामला

बताते चले कि जिले के सकरा थाने के मथुरापुर गाँव की निवासी सुनीता देवी को पेट में दर्द था, जिसका ईलाज वहीं पर बरियारपुर के शुभकान्त क्लिनिक में एक झोलाछाप चिकित्सक डॉक्टर पवन कुमार के द्वारा किया गया। डॉक्टर पवन कुमार ने महिला के गर्भाशय में ट्यूमर होने की बात कही और 3 सितम्बर को महिला का ऑपरेशन किया। ऑपरेशन के बाद सुनीता की तबियत बिगड़ने लगी, शरीर में सूजन होने लगा। तब जाकर महिला के परिजनों के द्वारा मुजफ्फरपुर के एस.के.एम.सी.एच. में सुनीता का सी.टी. स्कैन कराया गया, जिसकी रिपोर्ट में दोनों किडनी दृश्यमान नहीं हैं, ऐसा रिपोर्ट आया। ओवरी ऑपरेशन के दौरान किडनी गायब होने की एफ.आई.आर. के बाद प्रशासनिक अधिकारी सकते में आये और जाँच शुरू हुई, तब मालूम चला कि उक्त क्लिनिक सरकार के मानदंड के अंतर्गत कार्य नहीं कर रही हैं।

आरोपित डॉक्टर

पूर्व मे भी जारी हुआ था नोटिस

विदित हो कि इस मामले में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग द्वारा पूर्व में बिहार के स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव, मुजफ्फरपुर के जिलाधिकारी व एसएसपी को नोटिस जारी किया गया था और चार सप्ताह में जवाब माँगा गया था। जिले के जिलाधिकारी व एसएसपी द्वारा आयोग में रिपोर्ट प्रेषित की गयी थी. जिसमें मामले में एफ.आई.आर. दर्ज कर अनुसन्धान किये जाने की बात कही गयी थी। रिपोर्ट पर सुनवाई करते हुए आयोग ने एसएसपी मुजफ्फरपुर से अनुसन्धान की वर्तमान स्थिति व जिलाधिकारी मुजफ्फरपुर से पीड़िता को मुआवजा दिए जाने से जुडी रिपोर्ट की माँग की है।

मामले के सम्बन्ध में मानवाधिकार अधिवक्ता एस. के. झा ने कहा कि यह काफी गंभीर मामला है और इस मामले में बिना विलम्ब किये हुए सरकार को अविलम्ब अच्छे चिकित्सा संस्थान में पीड़ित महिला का ईलाज सुनिश्चित करना चाहिए तथा किडनी प्रत्यारोपण के लिए ठोस कदम उठाना चाहिए, क्योंकि पीड़ित महिला कि जान बचाने की दिशा में सरकार को हरसंभव प्रयास करने की जरूरत है।

Happy
Happy
0 %
Sad
Sad
0 %
Excited
Excited
0 %
Sleepy
Sleepy
0 %
Angry
Angry
0 %
Surprise
Surprise
0 %

Average Rating

5 Star
0%
4 Star
0%
3 Star
0%
2 Star
0%
1 Star
0%

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.

%d bloggers like this: