मुजफ्फरपुर, राष्ट्रकवि रामधारी सिंह दिनकर की पुण्यतिथि पर लंगट सिंह कॉलेज में श्रधांजलि सभा आयोजित की गयी. कॉलेज के दिनकर पार्क स्थित दिनकर की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर उनको श्रधांजलि दी गयी. प्राचार्य प्रो ओमप्रकाश राय ने कहा दिनकर राष्ट्रकवि होने के साथ ही जनकवि भी थे. देश की आजादी की लड़ाई से लेकर आजादी मिलने तक के सफर को दिनकर ने अपनी कविताओं द्वारा व्यक्त किया है.
भारतीय साहित्य जगत में दिनकर ऐसे नाम हैं जिनकी कविताएं युवाओं के रक्त में उबाल ला देती थी। जिनकी कविताओं की एक – एक पंक्ति से सभी में जोश भर जाता था. प्रो राय ने कहा कि दिनकर ने अपनी चर्चित किताब ‘संस्कृति के चार अध्याय’ जिसकी प्रस्तावना तत्कालीन प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने लिखी है, तथा अमर कृति उर्वशी इसी कॉलेज में अध्यापन करते हुए लिखी थी. आधुनिक युग के श्रेष्ठ वीर रस के कवि थे और उनके द्वारा रचित कविताएं आज भी अमर है. श्रधांजलि देने वालो में पूर्व उप मुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद, पूर्व मंत्री सुरेश शर्मा, विधान पार्षद डॉ संजय पासवान, प्रो राजीव कुमार, डॉ नवीन कुमार, डॉ कुमार बलवंत, डॉ ललित किशीर, ऋषि कुमार, सत्येन्द्र कुमार सहित अन्य शामिल रहे.