पटना. पीएमसीएच परिसर में पिछले तीन दिनों से चल रहे जीएनएम कॉलेज का मामला शनिवार को शांत हो गया. अंतत: जीएनएम कॉलेज अब वैशाली जिले के राजापाकड़ में ही शिफ्ट किया जायेगा. छात्राओं ने पूरी तरह से परिसर को खाली कर दिया और अपने-अपने घर लौट गयीं. हालांकि, शनिवार को भी कुछ छात्राओं व आइसा के कार्यकर्ताओं ने परिसर में नारेबाजी करते हुए स्वास्थ्य मंत्री का पुतला फूंका. लेकिन मामले को बढ़ता देख हॉस्टल व कॉलेज की बिजली और पानी का कनेक्शन काट दिया गया, जिसके बाद जगह को पूरी तरह से खाली कर दिया गया. वहीं हंगामा होता देख मजिस्ट्रेट व पुलिस की टीम मौके पर पहुंची, तो प्रदर्शन कर रहे आइसा के कार्यकर्ता चले गये. कार्यकर्ताओं का कहना है कि छात्राओं के साथ मारपीट करना दंडनीय अपराध है.
हॉस्टल खाली होते ही पीएमसीएच प्रशासन ने जड़ दिया ताला
दोषी पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई की मांग जिला प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग से की गयी है. दोपहर में सभी छात्राएं अपना-अपना सामान लेकर अपने घर चली गयीं. हॉस्टल खाली होते ही पीएमसीएच प्रशासन ने खुद का ताला जड़ दिया है. वहीं जानकारी देते हुए पीएमसीएच के अधीक्षक डॉ आइएस ठाकुर ने बताया कि कॉलेज व हॉस्टल अब पूरी तरह से खाली हो गया है. सोमवार को परिसर में काम कर रही एलएनटी कंपनी को हैंडओवर कर दिया जायेगा. संभवत: मंगलवार से कॉलेज टूटने का काम शुरू हो जायेगा.
कॉलेज अगले आदेश तक अनिश्चितकालीन बंद रहेगा
उन्होंने कहा कि अभी कॉलेज अगले आदेश तक अनिश्चितकालीन बंद रहेगा. यहां बता दें कि बीते दिनों पीएमसीएच जीएनएम कॉलेज को वैशाली जिले के राजापाकड़ में शिफ्ट करने का निर्णय लिया गया है. इसके बाद कॉलेज की नर्सिंग छात्राएं बीते बुधवार से हड़ताल पर थीं. शुक्रवार को पुलिस व छात्राओं के बीच मारपीट तक नौबत आ गयी, जिसके बाद 40 छात्राओं को पीरबहोर थाने में पुलिस ने हिरासत में लिया था. हालांकि देर रात छोड़ दिया गया. नर्सिंग छात्राएं राजापाकड़ शिफट नहीं होना चाहतीं थी.
इनपुट : प्रभात खबर