Muzaffarpur: बिहार के कैंसर मरीजों को अब बेहतर इलाज के लिए दूसरे राज्य नहीं जाना पड़ेगा. जिले के SKMCH परिसर में 15 एकड़ की जमीन पर करीब 300 करोड़ की लागत से 150 बेड का बना अत्याधुनिक कैंसर अस्पताल मुजफ्फरपुर ही नहीं बल्कि उत्तर बिहार के कई जिलों के लिए खासकर कैंसर पीड़ितों के लिए लाइफ लाइन साबित होगा. जिसके चलते अब कैंसर के इलाज के लिए मरीजों को मुंबई नहीं जाना पड़ेगा, बल्कि पीड़ित अब मुजफ्फरपुर में रहकर ही अपना बेहतर इलाज करा सकेंगे.
बता दें कि इस अस्पताल की शुरूआत के बाद जिले में कैंसर मरीजों को बहुत सुविधाएं मिलेंगी. हालांकि, फिलहाल यहां फैब्रिकेटेड मटेरियल से एक मिनी अस्पताल का निर्माण कराया गया है, जो सभी तरह की सुविधाओं से युक्त है.
इसमें हर तरह के मरीजों का इलाज हो रहा है. पिछले 5 महीने में सैकड़ों मरीजों का इलाज हो चुका है. अस्पताल के डॉक्टर गूंजेश कुमार सिंह ने बताया कि ‘मुजफ्फरपुर, खासकर उत्तर बिहार में कुछ कॉमन कैंसर पाए जा रहे हैं. रोजाना 40 मरीज इस अस्पताल में इलाज के लिए आ रहे हैं.’
जानकारी के अनुसार, इस अस्पताल के लिए टाटा मेमोरियल सेंटर और बिहार सरकार के बीच करार हुआ है. करार के बाद से अस्पताल में सभी अत्याधुनिक सुविधाओं के साथ 5 महीने में सैकड़ों मरीजों का इलाज हो चुका है. 2 साल पहले इस अस्पताल की नींव रखी गई थी. SKMCH कॉलेज के प्राचार्य डॉ. विकास कुमार ने बताया कि ‘अस्पताल में कंस्ट्रक्शन का काम अभी चल ही रहा है. लेकिन कैंसर की कई बीमारियों का इलाज शुरू हो गया है. इसके साथ ही सबसे बड़ी बात है कि मुजफ्फरपुर और आसपास के इलाकों में टाटा ने सर्वे कराया है. इस अस्पताल से आने वाले एक-दो सालों में मुजफ्फरपुर और आसपास के लोगों को बहुत फायदा होगा. जब इस अत्याधुनिक कैंसर अस्पताल का निर्माण पूरा हो जाएगा तो इस अस्पताल और अनुसंधान केन्द्र में लगभग 150 बेड होगें और यहां सर्जिकल ऑन्कोलॉजी, मेडिकल ऑन्कोलॉजी, रेडिएशन ऑन्कोलॉजी, रेडियोलॉजी, पैथोलॉजी, सूक्ष्म जीव विज्ञान जैसी चिकित्सा भी उपलब्ध होगी.’
वहीं, टाटा मेमोरियल सेंटर के डिप्टी डायरेक्टर डॉ. पंकज चतुर्वेदी ने बताया कि ‘आने वाले 10-15 सालों तक बिहार के मरीजों को इलाज के लिए बाहर जाने की जरूरत नहीं होगी. मरीजों को सभी सुविधाएं SKMCH में ही उपलब्ध होगी.’
Source : Zee news