दिल्ली विधानसभा में बजट पर चर्चा के दौरान मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने राजधानी में 500 जगहों पर बड़े-बड़े तिरंगे झंडे को फहराए जाने पर सवाल उठाने वालों को आड़े हाथ लिया। केजरीवाल ने कहा कि जब हमने कहा कि हम पूरी दिल्ली के अंदर तिरंगे झंडे फहराएंगे तो भाजपा और कांग्रेस ने इसका विरोध क्यों किया? मैं भाजपा और कांग्रेस से पूछना चाहता हूं कि तिरंगा अगर भारत में नहीं फहराएगा तो पाकिस्तान में फहराएगा क्या? देश का तिरंगा दिल्ली में नहीं फहराएगा तो इस्लामाबाद में फहराएगा क्या?।

मुख्यमंत्री ने विधानसभा में कहा कि दिल्ली के बजट में कहा गया है क हम 500 जगहों पर बड़े-बड़े तिरंगे झंडे को फहराएंगे। रोज सुबह जब कोई अपने घर से बाहर निकलेगा और बाहर झंडे देखेगा तो उसका मन देशभक्ति से भर जाएगा, लेकिन भाजपा और कांग्रेस इसका विरोध कर रहे हैं।

वहीं, उन्होंने यह भी कहा कि जब से हमनें अयोध्या की तीर्थ यात्रा का ऐलान किया है, तब से भाजपा-कांग्रेस वाले इसका विरोध कर रहे हैं। क्या अपने बुजुर्गों को राम लला के दर्शन करवाना पाप है? ये लोग क्यों इस तीर्थ यात्रा का विरोध कर रहे है?

इस दौरान केजरीवाल ने कहा कि आज हम कह रहे हैं कि दिल्ली में 2048 में ओलिंपिक होंगे तो ये मज़ाक उड़ा रहे हैं, लेकिन हम देश के साथ मिलकर ये भी करके दिखाएंगे। 2048 ओलंपिक गेम्स की मेजबानी करना हमारा सपना है। हम सभी खेल निकायों, भारतीय ओलंपिक संघ और इसके लिए केंद्र में जाएंगे। दिल्ली सरकार पहल करेगी, लेकिन सभी को इसके लिए एकजुट होना होगा। मुझे यकीन है कि हमारा सपना सच होगा।

गौरतलब है कि दिल्ली की ‘आप’ सरकार ने मंगलवार को वित्तीय वर्ष 2021-22 (Delhi Budget 2021-22) के लिए ‘देशभक्ति’ पर आधारित 69,000 करोड़ रुपये का प्रस्तावित बजट पेश किया था। बजट पेश करते हुए उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने ऐलान किया कि ‘आप’ सरकार ने देश का 75वां स्वतंत्रता दिवस मनाने का फैसला किया है और इसके लिए सरकार 12 मार्च से 75 सप्ताह तक कार्यक्रम आयोजित करेगी। सिसोदिया ने कहा कि “देशभक्ति बजट” के तहत, दिल्ली सरकार ने राष्ट्रीय राजधानी में 500 स्थानों पर राष्ट्रीय ध्वज फहराने के लिए उच्च ध्वज स्तंभ स्थापित करने के लिए 45 करोड़ रुपये आवंटित करने का प्रस्ताव किया है। सिसोदिया ने यह भी कहा कि दिल्ली के बच्चों को कट्टर देशभक्त बनाने के लिए राजधानी के स्कूलों में “देशभक्ति का पीरियड” भी होगा। बजट में शिक्षा के लिए 16,377 करोड़ रुपये आवंटन किया गया है।

Input: Live Hindustan

21 thoughts on “भारत का झंडा दिल्ली में नहीं तो क्या इस्लामाबाद में लहराएगा? भड़के अरविंद केजरीवाल का सवाल”
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