मुजफ्फरपुर, पोषण माह के अवसर पर आज दिनांक – 07/09/21 को बाल विकास परियोजना कार्यालय , मुशहरी सदर में ‘गोदभराई सह पोषण परामर्श केंद्र’ का शुभारंभ मुख्य अतिथि जिलाधिकारी प्रणव कुमार के द्वारा किया गया है । इस कार्यक्रम का आगाज जिलाधिकारी के द्वारा गुब्बारा उड़ाकर किया गया। साथ ही उनके द्वारा पोषण शपथ भी कराया गया ।

इस कार्यक्रम में जिला प्रोग्राम पदाधिकारी, आई.सी.डी.एस. श्रीमती चांदनी सिंह, जिला जन संपर्क पदाधिकारी श्री कमल सिंह, बाल विकास परियोजना पदाधिकारी मुशहरी सदर, श्रीमती नीतू सिंह, जिला समन्वयक सुश्री सुषमा सुमन, राष्ट्रीय पोषण मिशन, प्रखंड समन्वयक दर्शना, प्रखंड परियोजना सहायक कोमल कुमारी, महिला पर्यवेक्षिका, मुशहरी सदर की सेविका सहायिका, ऑफिस स्टाफ उपस्थित थे।

इस मौके पर जिलाधिकारी महोदय द्वारा चार गर्भवती महिलाओं इंदु देवी, पति – समीर कुमार , वार्ड – 10, सोनी कुमारी, पति – उमेश महतो , वार्ड – 11, जूही कुमारी ,पति – प्रकाश कुमार , वार्ड -11,अंशु कुमारी ,पति – सनोज रजक ,वार्ड -11 का गोदभराई किया गया साथ ही पोषण परामर्श केंद्र का शुभारंभ जिलाधिकारी महोदय, जिला जन सूचना संपर्क पदाधिकारी, जिला प्रोग्राम पदाधिकारी द्वारा किया गया

पोषण परामर्श केंद्र पर आईं.सी. डी. एस द्वारा दिए जाने वाले सभी लाभ एवं पॉस्टिक तत्वों से भरपूर खाद्य पदार्थो के बारे में बताया गया साथ ही 3-6 वर्ष के बच्चों को व्हीटामिक्स मुशहरी सदर परियोजना में दिया जाता है उसकी भी जानकारी पोषण परामर्श केंद्र पर दिया गया प्रसव पूर्व तैयारी, पोषण पोटली, चार बार ए. एन.सी. जांच, प्रधानमंत्री मातृत्व वंदना योजना का पंजीकरण एवं लाभुकों को प्रदान कि जाने वाली राशि के बारे में जानकारी दी गई ।पोषण माह अन्तर्गत प्रधानमंत्री मत्री वंदना सप्ताह 1-7 सितंबर का समापन भी इस कार्यक्रम के दौरान किया गया ।

इस मौके पर जिलापदाधिकरी ने कहा कि सुपोषित बच्चे ही समृद्ध राष्ट्र की पहचान है। कहा कि बच्चे के गर्भ में आने के साथ ही बच्चो एवं माता के खान पान, पोषण , स्वास्थ्य इत्यादि पर सभी गर्भवती माताओं के घरवाले एवं स्वयं माताओ को ध्यान देने की जरूरत है। साथ कहा कि सभी आंगनवाड़ी सेविका, सहायिका ,आशा, ए. एन.एम. के द्वारा उन्हें उचित परामर्श एवं सरकारी योजना का लाभ उठाने हेतु विशेष प्रयास की जाय।

जिलाधिकारी के द्वारा इस पोषण माह में दिए गए विषय के बारे में बताया गया कि हमें मुख्य रूप से “कुपोषण छोड़ , पोषण की ओर थामे स्थानीय भोजन की डोर”, इन बातो को अपनाने की बात कही गई । इस पोषण माह में मुख्य रूप से चार विषयो के बारे में जन जागरूकता का कार्य किया जाना है।
जिसमें पोषण वाटिका लगाने हेतु जागरूकता अभियान,योगा और आयुष (गर्भवती, बच्चे, किशोरी), पोषण किट का वितरण पोषण संदेश के साथ, अतिकुपोषित बच्चो की पहचान कर पोषण पुनर्वास केंद्र भेजा जाना है। इस पोषण माह पर  बच्चो को मा का दूध दिया जाए ,बोतल से दूध नहीं पिलाया जाए इसके लिए जन जागरूकता भी किया जाना है ।

पोषण माह का उद्देश्य घर घर तक सही पोषण एवं उचित परामर्श को जन व्यापी आंदोलन के रूप में परिवर्तित करने का निर्देश दिया गया एवं प्रति वर्ष बौनापन में 2 प्रतिशत ,एवं एनीमिया में 3 प्रतिशत की कमी लाने के लिए प्रयास करने का निर्देश दिया गया । कार्यक्रम का समापन बाल विकास परियोजना पदाधिकारी मुशहरी सदर द्वारा  धन्यवाद ज्ञापन के साथ किया गया।

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