पटना. कोरोना महामारी से उत्पन्न मुश्किलों के बाद आम लोग अब महंगाई की मार झेल रहे हैं. लोगों की रसोई का बजट बिगड़ चुका है. खाद्य एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग की रिपोर्ट के अनुसार सरसों के तेल, प्याज, चावल और दाल की कीमतों में और इजाफा हुआ है. इधर डीजल-पेट्रोल की कीमतों में बढ़ोतरी के कारण परिवहन विभाग की इजाजत के बिना ही बिहार ट्रांसपोर्ट मोटर फेडरेशन ने लंबी रूट की बसों का किराया 20 प्रतिशत बढ़ा दिया है.

इसके कारण बस यात्रियों को अब 40 से 80 रुपये तक ज्यादा भुगतान करना पड़ेगा.

राज्य में पिछले एक महीने में रसोई के सामान के लिए आम लोगों को अधिक पैसे खर्च करने पड़ रहे हैं. राज्य भर में खुदरा व्यापारियों ने किराना सामान की कीमतों में अपने मन से बढ़ोतरी कर दी है. खाद्य उपभोक्ता विभाग की रिपोर्ट के मुताबिक नौ मार्च से 10 मार्च के बीच सरसों तेल की कीमत में 22 रुपये की तेजी आयी है. वहीं, चावल, अरहर दाल व प्याज के लिए भी आम लोगों को अधिक पैसे देने पड़ रहे हैं. खास बात यह कि इन आवश्यक सामान के थोक भाव में कोई इजाफा नहीं हुआ है. इसका मतलब है कि खुदरा व्यापरियों ने अपने लाभ के लिए कीमतें बढ़ायी हैं.

इधर खाद्य विभाग का दावा है कि उसके पास फिलहाल कीमतों के बढ़ाये जाने पर रोक का कोई अधिकार नहीं हैं. पर, विभाग बाजार की इस इस तेजी पर पैनी नजर बनाये हुए है. विभाग अपनी ओर से रिपोर्ट तैयार कर केंद्र को भेज रहा है. केंद्र से जो भी दिशानिर्देश आयेगा, उस पर अमल होगा.

विभाग द्वारा जारी रिपाेर्ट के तुलनात्मक अध्ययन में यह साफ हुआ कि सबसे अधिक तेजी सरसों के तेल की कीमतों में आयी है. नौ और 10 मार्च के बीच सरसों के तेल के खुदरा दाम में औसतन प्रति किलो 22 रुपये का इजाफा हुआ है. यह इजाफा 18 फीसदी का है. नौ मार्च को इसके दाम 122 रुपये किलो थे, जो 10 मार्च को 144 रुपये हो गये. सरसों के तेल के दाम में आ रही तेजी का ट्रेंड स्थायी है, क्योंकि एक माह में सरसों के औसत खुदरा दाम में 4.34% बढ़ोतरी हुई है.

आधिकारिक तौर पर जारी 10 फरवरी से 10 मार्च तक के आंकड़ों पर नजर डालें तो साफ हाे जाता है कि सरसों तेल के औसत फुटकर मूल्यों में छह रुपये प्रतिकिलो का इजाफा हुआ है. राज्य में औसतन 138 रुपये प्रति किलो बिकने वाले सरसों तेल की कीमत बढ़ कर अब 144 रुपये हो गयी है. इसका थोक मूल्य 10 फरवरी को 13,267 रुपये प्रति क्विंटल था, जो 10 मार्च को बढ़ कर 13,602 रुपये प्रति क्विंटल हो गया है.

पटना में 10 फरवरी को सरसों तेल का औसत फुटकर मूल्य 140 रुपये से बढ़ कर 142 रुपये, भागलपुर में 135 से बढ़ कर 140 रुपये, दरभंगा में 134 से बढ़ कर 136 रुपये , मुजफ्फरपुर में 138 से बढ़ कर 142 रुपये , गया में 140 रुपये से बढ़ कर 162 रुपये प्रति किलो हो चुका है.

प्याज, चावल और अरहर की दाल में तेजी बरकरार

पिछले एक माह के दौरान राज्य में प्याज के खुदरा दाम 42 रुपये बढ़ कर 45 रुपये हो गये, जबकि इसका औसत थोक मूल्य 3583 रुपये से बढ़ कर 3850 रुपये हो गया है. इस तरह प्रति क्विंटल 367 रुपये का इजाफा हुआ है. 10 फरवरी को अरहर की दाल का औसत खुदरा मूल्य मूल्य 97 रुपये से बढ़ कर 10 मार्च को 100 रुपये प्रति किलो हो गया है. 10 फरवरी को इसका थोक मूल्य 8983 रुपये प्रति क्विंटल था, जो 10 मार्च को बढ़ कर 9297 रुपये हो गया. उड़द दाल प्रति किलो 102 रुपये हो गयी है.

जहां तक अालू का सवाल है, ताे इसके औसत खुदरा दाम अब भी 13 रुपये प्रति किलो चल रहे हैं, जबकि इसके औसत थोक मूल्य 100 रुपये गिर कर 858 रुपये प्रति क्विंटल रह गया है. इस हिसाब से इसके दाम कहीं ज्यादा कम होने चाहिए थे. चावल का खुदरा औसत मूल्य रुपये था, जो अब 10 मार्च को दो रुपये बढ़ कर 33 रुपये हो गया है. इसका थोक मूल्य अब 2717 रुपये है, जबकि 10 फरवरी को कुछ कम 2667 रुपये था.

चीनी हुई सस्ती

चीनी मामूली सस्ती हुई है. फरवरी में इसके दाम प्रति किलो 40 रुपये थे, जो 10 मार्च को घटकर 39 रुपये रह गये. इसके थोक मूल्य भी 3647 रुपये से घट कर 3556 रुपये हो गया है. उल्लेखनीय है कि नमक, गेहूं और उसका आटा, मूंग ,मसूर और चने की दाल के खुदरा और थोक मूल्य यथावत हैं.

पिछली होली से 100 तक बढ़े किराना सामान के दाम

महंगाई की मार से आम लोगों को राहत मिलती नजर नहीं आ रही है. पेट्रोल और डीजल के साथ-साथ खाद्य तेल और दाल की महंगाई भी लोगों को सता रही है. इससे इस बार होली के मौके पर पकवान का जायका बिगाड़ सकता है. पिछले होली के मुकाबले इस बार किराना सामान में 100 रुपये तक की बढ़ोतरी हो चुकी है. खाने के तेल के दाम पिछले होली के मुकाबले अब तक 55 रुपये प्रति लीटर तक का इजाफा हो चुका है.

होली के मौके पर सरसों तेल और रिफाइन की खपत सबसे अधिक होती है. पिछले साल सरसों तेल 95-120 रुपये प्रति लीटर था, जो बढ़ कर 140-160 रुपये प्रति लीटर पर पहुंच गया है. इसी तरह रिफाइन तेल 90-110 रुपये प्रति लीटर से बढ़कर 140-165 रुपये प्रति लीटर चल रहा है. खुली चाय 200 रुपये प्रति किलो से बढ़कर 300 रुपये प्रति किलो के स्तर पर पहुंच चुकी है.

फेस्टिव और शादी के सीजन में खाद्य तेलों की मांग में और उछाल देखने को मिल सकता है. इसके अलावा अरहर दाल 90 रुपये प्रति किलो से बढ़कर 120 रुपये, चना दाल 65 से बढ़कर 80 रुपये, चना 55 रुपये प्रति किलो से बढ़कर 70 रुपये तथा बेसन सौ रुपये से बढ़कर 130 रुपये किलो तक पहुंच गया है.

एक नजर में भाव (प्रति किलो रुपये में )

सामग्री वर्ष 2020 – 2021

चना सत्तू- 120 -140

गुड़ – 45- 40

राजमा – 120- 140

काबुली चना- 80- 100

खुला आटा- 28 से 25

मसूर दाल 70-75

उड़द दाल – 130- 130

बादाम गिरी- 800- 700

नारियल – 300-300

छुहाड़ा – 250- 250

काजू – 900- 900

20% बढ़ा बस किराया 40 से 80 रुपये तक देना पड़ेगा ज्यादा

लगातार बढ़ रही डीजल की कीमत को लेकर बिहार ट्रांसपोर्ट मोटर फेडरेशन ने बसों के किराये में 20 प्रतिशत की बढ़ोतरी की है. पहले 25 प्रतिशत बढ़ोतरी की बात थी, लेकिन उसके बाद पीएम की ओर से जारी बयान में डीजल की कीमत में कमी की बात कही गयी. इसके बाद मोटर फेडरेशन ने यात्री किराये में 20 प्रतिशत की बढ़ोतरी करते हुए नयी सूची जारी कर दी है. 14 मार्च की मध्यरात्रि से किराया लागू कर दिया जायेगा.

मोटर फेडरेशन के प्रदेश अध्यक्ष उदय शंकर प्रसाद सिंह, जिलाध्यक्ष मुकेश शर्मा ने बताया कि इससे पहले दो अक्तूबर, 2018 को किराया बढ़ाया गया था. तब से अब तक फरवरी में डीजल की कीमत में 20 रुपये प्रति लीटर की बढ़ोतरी हो चुकी है. ऐसे में किराये बढ़ाने के अलावा हमलोगों के पास कोई दूसरा रास्ता नहीं बचा था.

इसको लेकर पूर्व में 28 फरवरी को फेडरेशन की अध्यक्षता में बसमालिकों की बैठक में यह निर्णय लिया गया. सभी जिलाध्यक्ष को सूचित किया गया है वह 14 मार्च की मध्यरात्रि से बढ़े किराये को लागू करें. वहीं, बिना परिवहन विभाग की इजाजत के की गयी इस मनमानी वृद्धि से प्राइवेट बस के यात्रियों को शॉट रूट में पांच से 10 और लंबी दूरी में 40 से 80 रुपये तक अधिक किराया चुकाना पड़ेगा.

पटना से प्राइवेट बसों का नया किराया

रूट साधारण बस एसी

भागलपुर 370 410

बरियारपुर 270 310

तारापुर 310 350

जमुई 230 270

शिवहर 190 220

अररिया 470 520

पूर्णिया 540 595

किशनगंज 685 760

फारबीसगंज 415 560

सिमराही 360 400

नरपतगंज 380 420

प्रतापगंज 375 415

अरेराज 220 270

पहाड़पुर 245 290

दालकोला 740 790

नरकटियागंज 290 340

चनपटिया 275 320

बगहा 295 340

लाैरिया 275 325

वाल्मीकिनगर 370 410

रामनगर 290 340

चौतरवा 300 350

धनहा 330 375

घोड़ासहन 255 295

ढाका 270 310

ठाकुरगंज 410 450

बैरगनिया (मोतिहारी) 275 325

पूर्णिया (बेगूसराय) 540 595

सहरसा (बेगूसराय) 445 490

मधेपुरा (बेगूसराय) 455 505

रांची 500 530

किशनगंज 670 720

औरंगाबाद 175 225

सासाराम 185 235

भभुआ 215 265

डाल्टेनगंज 290 240

बिहटा 45 60

पाली 70 85

बिहारशरीफ 85 105

नवादा120 140

इस्लामपुर 70 80

फतुहा 30 40

हिलसा 60 70

दनियामा 45 55

एकंगरसराय 65 75

लोहंदा 50 60

शेखपुरा 125 145

बरबीघा 115 125

अस्थावां 100 120

राजगीर 100 120

मनाटाड 300 350

वैशखवा 290 340

सिकटा 300 350

वारसलिगंज 120 140

वारसलिगंज मोड़ 110 130

पकड़ीबरामा 130 150

कौआकोल 145 170

जहानाबाद 75 85

हुलासगंज 85 100

खिजरासराय 110 130

सुखा 95 120

परिहार 290 330

पुपड़ी 265 300

चुरौत 300 340

सुरसंड 230 280

खगड़िया 250 280

मुंगेर 250 280

लखीसराय 180 210

मुजफ्फरपुर 130 150

खगड़िया 210 260

मोतिहारी 250 300

झंझारपुर 305 350

महादेवमठ 375 410

समस्तीपुर 130 150

रोसड़ा 160 200

कुनौली 395 425

मधेपुर 325 370

अंधरामठ 360 400

फुलपरास 350 370

गया 175 205

सोनबरसा 300 340

पूर्णिया 540 595

सिलीगुड़ी 780 825

बैरगनिया 250 290

रक्सौल 310 380

बेला 310 350

इनपुट  : प्रभात खबर

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