मुजफ्फरपुर | 22 दिसंबर 2025 : राज्य में भूमि एवं राजस्व व्यवस्था को पूरी तरह जनोन्मुखी, पारदर्शी और जवाबदेह बनाने के उद्देश्य से शुरू किए गए भूमि सुधार जनकल्याण संवाद का आगाज सोमवार को मुजफ्फरपुर से हुआ। बीआरए बिहार विश्वविद्यालय परिसर स्थित श्रीकृष्ण सिंह प्रेक्षागृह में आयोजित कार्यक्रम में उपमुख्यमंत्री सह राजस्व एवं भूमि सुधार मंत्री विजय कुमार सिन्हा ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि यह पहल केवल मंचीय भाषण के लिए नहीं, बल्कि जनता के बीच जाकर उनकी वास्तविक समस्याओं को सुनने और समयबद्ध समाधान सुनिश्चित करने के लिए है।
उन्होंने कहा,
“मेरा उद्देश्य ऐसी व्यवस्था बनाना है कि मैं रहूं या न रहूं, सिस्टम चलता रहे और आम आदमी को अपनी जमीन से जुड़े काम के लिए भटकना न पड़े।”
15 दिन में निपटेंगे लंबित मामले
उपमुख्यमंत्री ने बताया कि वर्तमान में जनता की सबसे बड़ी शिकायतें दाखिल-खारिज, परिमार्जन प्लस और ई-मापी से जुड़ी हैं। इन मामलों के त्वरित समाधान के लिए अधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि सभी लंबित प्रकरणों का निष्पादन 15 दिनों के भीतर सुनिश्चित किया जाए, ताकि भविष्य के जनसंवाद में लोग इन्हीं समस्याओं को लेकर परेशान न हों।
सरकारी जमीन की गलत जमाबंदी बताने पर सम्मान
कार्यक्रम के दौरान श्री सिन्हा ने बड़ी घोषणा करते हुए कहा कि
सरकारी जमीन की गलत जमाबंदी यदि किसी के निजी नाम से की गई है और इसकी सूचना कोई देता है, तो ऐसे जागरूक नागरिकों को विभाग द्वारा सम्मानित किया जाएगा।
100 दिनों में हर जिले तक पहुंचेगा जनसंवाद
उपमुख्यमंत्री ने बताया कि अपने कार्यकाल के पहले 100 दिनों में प्रमंडलवार और फिर जिलावार भूमि सुधार जनसंवाद आयोजित किया जाएगा। इसका उद्देश्य है कि भूमि विवाद, जनशिकायत और विभागीय कार्यप्रणाली से जुड़ी जमीनी अड़चनों को समझकर स्थायी समाधान निकाला जा सके। उन्होंने बताया कि इस अभियान की शुरुआत 12 दिसंबर को पटना से हुई, इसके बाद 15 दिसंबर को लखीसराय और 18 दिसंबर को पटना में अधिकारियों की राज्यस्तरीय कार्यशाला आयोजित की गई, जिसमें सभी को समय-सीमा में कार्य निष्पादन के निर्देश दिए गए।
दलाल, भू-माफिया और भ्रष्टाचार पर सख्ती
उपमुख्यमंत्री ने दो टूक कहा कि राजस्व कार्यालयों में दलाल, बिचौलिये और भू-माफिया की कोई जगह नहीं है। पारदर्शी व्यवस्था में जो बाधा बनेगा, उस पर सख्त कार्रवाई होगी। उन्होंने बताया कि इसी उद्देश्य से दिसंबर माह में सभी अंचल अधिकारियों और राजस्व कर्मचारियों की छुट्टियां रद्द की गई हैं। अंचल कार्यालयों में नियम और प्रक्रियाओं की जानकारी बैनर-पोस्टर के माध्यम से प्रदर्शित करने तथा 9-9-6 मॉडल (सुबह 9 से रात 9 बजे तक, सप्ताह में 6 दिन) जनता के लिए उपलब्ध रहने के निर्देश दिए गए हैं।
ई-मापी और जमाबंदी में पारदर्शिता पर जोर
उपमुख्यमंत्री ने कहा कि ई-मापी की प्रक्रिया पूरी तरह ऑनलाइन हो और उसकी रिपोर्ट भी ऑनलाइन अपलोड की जाए। साथ ही सरकारी भूमि को अतिक्रमण से मुक्त कराना सभी अधिकारियों की प्राथमिक जिम्मेदारी होनी चाहिए। फर्जी दस्तावेजों से विवाद खड़ा करने वालों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।
14 जनवरी तक दिखना चाहिए बदलाव
उन्होंने अधिकारियों को चेताते हुए कहा कि 14 जनवरी तक हर अंचल और हर हल्के में सकारात्मक बदलाव दिखना चाहिए। बेहतर काम करने वालों को प्रोत्साहन मिलेगा, जबकि विभाग की छवि खराब करने वालों पर कठोर कार्रवाई होगी।
प्रशासनिक अधिकारियों की मौजूदगी
कार्यक्रम में प्रधान सचिव सी.के. अनिल ने स्वागत भाषण दिया, जबकि ओएसडी अनुपम प्रकाश ने विभागीय कार्यों की प्रस्तुति दी। मौके पर विभागीय सचिव जय सिंह, गोपाल मीणा, तिरहुत प्रमंडलीय आयुक्त हिमांशु कुमार राय, मुजफ्फरपुर जिलाधिकारी सुब्रत कुमार सेन, एसएसपी सुशील कुमार समेत कई वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।

