0 0
Read Time:5 Minute, 8 Second

बिहार के नए डीजीपी राजविंदर सिंह भट्टी ने बतौर पुलिस महानिदेशक राज्य के सभी जिलों के एसपी और वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के साथ पहली मीटिंग में कहा कि क्रिमिनल को दौड़ाइए, अगर वो बैठा रहा तो खुराफात करेगा और फिर आपको दौड़ाता रहेगा। क्रिमिनल को दौड़ाते रहने से क्राइम कम होगा। पटना में सीनियर पुलिस अफसर के साथ मीटिंग में भट्टी ने पुलिस फोर्स का मनोबल बढ़ाते हुए कहा कि कौन खुश होगा और कौन नाराज होगा, इसकी चिंता करना बंद कर दीजिए। साफ काम करिए और कानून के हिसाब से काम करिए।

भट्टी ने कहा कि जो काम ही नहीं करता है उसकी शिकायत तो हो नहीं सकती। भट्टी ने कानून के मुताबिक काम करने की नसीहत देते हुए कहा कि अगर आपने सही काम किया है तो अपने खिलाफ किसी भी शिकायत की चिंता करने की जरूरत नहीं है। शिकायत कोई भी करे जब तक मैं आरोप से संतुष्ट नहीं होता तब तक कुछ नहीं होगा। कुछ पूछना होगा तो मैं पूछ लूंगा। शिकायत में दम होगा तो कारण बताओ नोटिस मिलेगा, आपको जवाब देने और अपनी बात रखने का मौका मिलेगा। बस ध्यान रहे कि गलत काम नहीं करना है। भट्टी ने ये भी कहा कि वो देखेंगे कि कौन बैठा है। ये बंद हो जाना चाहिए कि मैं सीनियर अफसर हूं तो काम नहीं करूंगा, ये नहीं चलेगा। उन्होंने कहा कि सरकार और पब्लिक दोनों रिजल्ट चाहती है। दूसरे राज्य को देखती है कि वहां पुलिस कैसे बढ़िया से काम कर रही है।

पुलिस अफसर को सजा देने से पहले उनके परिवार और बच्चों के बारे में सोचा करिए

सीनियर पुलिस अफसरों को जूनियर अफसरों की छोटी-मोटी गलती पर उन्हें सस्पेंड करने से बाज आने की नसीहत देते हुए भट्टी ने कहा कोई गलती करती है तो पहली बार में ही समझाइए। डांटिए। एक-दो बार समझाइए। जब भी सजा दीजिए, उसके परिवार को देखिए, उसके बच्चों को देखिए। मैं तो कई बार फैसला नहीं लेता ये सोचकर कि मेरी कलम क्या नुकसान करने जा रही है। भट्टी ने कहा कि उन्हें ऐसा लगता है कि बिहार में पुलिस अफसरों को ज्यादा सजा दी जा रही है। पहली गलती पर टोक दीजिए तो वो आगे नहीं बढ़ेगा। खूब टोकिए. हर छोटी चीज पर टोकिए। सीधा सस्पेंड करना उचित नहीं है।

भट्टी ने कहा कि सीनियर के लिए सबसे आसान है कि नीचे वाले को सस्पेंड कर दो। ये कमजोर लीडरशिप की निशानी है। इसका मतलब यह है कि आपमें दम नहीं है। उसने गलती की तो आप क्या कर रहे थे। अब ये सवाल मैं सीनियर से पूछूंगा। भट्टी ने कहा कि छोटी-मोटी चीज के लिए सस्पेंड नहीं करना है। गंभीर अपराध है तो बिना रहम किए बेहिचक सस्पेंड करिए, सजा दीजिए, नौकरी से निकाल दीजिए। पुलिस के लाठीचार्ज के बढ़ते मामलों पर भट्टी ने कहा कि जरूरत हो तो लाठी चलाइए लेकिन बेमतलब लाठी मत चलाइए। कोई आयोजन है तो खुफिया तंत्र मजबूत करिए, अशांति का खतरा है तो एहतियातन पहले हिरासत में ले लीजिए।

एफआईआर में नाम फंसाने वाला काम बंद हो, सही जांच करके बेगुनाह का नाम हटाएं

भट्टी ने आपराधिक मामलों में बेगुनाह लोगों के फंसने की चर्चा करते हुए कहा कि समाज में रंजिश के कारण भी एफआईआर में नाम डालने का चलन है। सबसे आसान होता है कि उसी पर चार्जशीट लगा दो। पहले नाम गलत आया फिर आपने स्टांप लगा दिया, अब आदमी परेशान घूम रहा है। पुलिस का अनुसंधान न्याय का पहला चरण है। आप साक्ष्य जुटाओ, सही जांच करो, गलत नाम आया है तो हटाओ, कारण लिखो। भट्टी ने सभी एसपी और आईओ को संबोधित करते हुए कहा कि आपने सही से जांच करके किसी का नाम हटा दिया है तो ठीक है। शिकायत आएगी तो हम देखेंगे। गलत आदमी पर चार्जशीट होगा तो हम आपकी जवाबदेही तय करेंगे।

Input : live hindustan

Happy
Happy
0 %
Sad
Sad
0 %
Excited
Excited
0 %
Sleepy
Sleepy
0 %
Angry
Angry
0 %
Surprise
Surprise
0 %

Average Rating

5 Star
0%
4 Star
0%
3 Star
0%
2 Star
0%
1 Star
0%

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.

%d bloggers like this: