रामदयालु सिंह महाविद्यालय का 77वां स्थापना दिवस: गौरवशाली इतिहास, स्वर्णिम भविष्य की उम्मीद।

रामदयालु सिंह महाविद्यालय का 77वां स्थापना दिवस: गौरवशाली इतिहास, स्वर्णिम भविष्य की उम्मीद।

मुजफ्फरपुर, 19 जुलाई 2025: रामदयालु सिंह महाविद्यालय ने अपने 77वें स्थापना दिवस को भव्य समारोह के साथ मनाया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि सह विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. दिनेश चंद्र राय ने कहा कि कॉलेज का इतिहास गौरवशाली रहा है और इसका भविष्य स्वर्णिम होगा। उन्होंने कहा, “पिछले 77 वर्षों में कॉलेज ने शैक्षणिक उत्कृष्टता के साथ-साथ सर्वांगीण विकास के नए आयाम छुए हैं। यह शिक्षकों, कर्मचारियों और छात्रों के सामूहिक प्रयासों का परिणाम है।”

कुलपति ने कॉलेज के शिक्षकों की शोध कार्यों में रुचि और विश्वविद्यालय के विभिन्न विभागों में अतिथि प्राध्यापकों के योगदान की सराहना की। उन्होंने कहा कि रामदयालु बाबू के सपनों को साकार करने के लिए सभी को मिलकर प्रयास करना होगा। प्राचार्य डॉ. अनिता सिंह के नेतृत्व की प्रशंसा करते हुए उन्होंने कहा कि कॉलेज निरंतर प्रगति के पथ पर अग्रसर है।

प्राचार्य का स्वागत और प्रगति पर जोर
प्राचार्य डॉ. अनिता सिंह ने सभी अतिथियों, पूर्व प्राचार्यों, विश्वविद्यालय पदाधिकारियों और सेवानिवृत्त शिक्षकों का अंग वस्त्र भेंटकर स्वागत किया। उन्होंने कहा, “सबके सहयोग और प्रेरणा से कॉलेज शैक्षणिक, शोध और प्रोजेक्ट कार्यों में उत्कृष्ट प्रदर्शन कर रहा है। हमारा लक्ष्य वैश्विक शैक्षणिक ऊंचाइयों को छूना है।”

पत्रिका और पुस्तक का विमोचन
समारोह में कुलपति और अतिथियों ने कॉलेज की वार्षिक पत्रिका वर्तिका का विमोचन किया। साथ ही, राजनीति विज्ञान विभाग के प्राध्यापक डॉ. देवेंद्र प्रताप तिवारी की पुस्तक भारतीय संघीय व्यवस्था: अतीत, वर्तमान और भविष्य का भी लोकार्पण हुआ।

मेधावी छात्रों का सम्मान
कला, विज्ञान और वाणिज्य संकाय के स्नातक और स्नातकोत्तर स्तर के 30 टॉपर छात्र-छात्राओं को प्रमाण पत्र, मेडल और प्रोत्साहन राशि देकर सम्मानित किया गया। एनसीसी और एनएसएस में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले छात्रों को भी पुरस्कृत किया गया। कुलपति ने कहा, “यह विश्वविद्यालय का पहला कॉलेज है, जहां टॉपर्स को सम्मानित करने की परंपरा है, जो अन्य संस्थानों के लिए प्रेरणादायक है।”

रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम
स्थापना दिवस के अवसर पर छात्र-छात्राओं ने भव्य सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किया। कत्थक, गोदना गीत, शिव तांडव, विदेशिया नृत्य, सोलो डांस और समूह गीत ने दर्शकों का मन मोह लिया। अक्षिता, आदित्य केशव, अंजलि, सृष्टि, पवन, गुंजा, शुभम और पलक जैसे छात्रों की प्रस्तुतियों ने समारोह में चार चांद लगाए।

कॉलेज के गौरवशाली इतिहास पर चर्चा
वर्तिका पत्रिका के संपादक डॉ. रमेश प्रसाद गुप्ता और डॉ. नीलिमा झा ने कॉलेज के गौरवशाली इतिहास पर विस्तार से प्रकाश डाला। डॉ. रजनीकांत पांडे ने कॉलेज की उपलब्धियों को रेखांकित किया, जबकि शिक्षकों की उपलब्धियों को डिजिटल प्रेजेंटेशन के माध्यम से प्रदर्शित किया गया।